मेरे मेहबुब प्यारे मसीहा,
किस जगह तेरा जलवा नहीं है,
किस जगह तेरी शोहरत नहीं है,
किस जगह तेरा चर्चा नहीं है,
1. आँख वालों ने तुझ को है देखा,
कानों वालों ने तुझ को सुना है,
तुझको पहचानते हैं वो इन्सां,
जिनकी आँखों पर परदा नहीं है
2. लोग पीते हैं, पीकर गिर जाते हैं,
मैं तो पीता हूँ, गिरता नहीं
मैं जो पीता हूँ, दर पर मसीह के,
वह अंगूरों का शीरा नहीं है
3. मर गई थी वो याईर की बेटी,
तूने उस पे निगाहें करम की,
कर दिया ज़िन्दा उसको ये कह कर,
वह तो सोती है मुर्दा नहीं है
4. मैं तो देता हूँ उसकी गवाही,
मैंने ज़िंदगी मसीहा से पाई
अब तो ज़िंदगी है तेरे हवाले,
मैं तो तेरा किसी का नहीं हूं
मेरे दिल में नया गाना, मुझे येशु देता है
आनंद से गाऊंगा जीवन भर अपने
येशु की स्तुति करूँगा – हल्लेलुयाह
आनंद से….
1. पापों की गन्दगी से मुझे उठाया
दिया उसने नया गीत मेरे जीवन में-2
2. माता पिता, भाई – बहन सब कुछ वो ही है
निंदा लेकर उसकी महिमा गाता रहूँगा-2
3. इस जहां की मुसीबतें क्या करेंगी
उस जहां की ज़िन्दगी पर आशा रखता हूँ-2
4. संकट के समय में मैंने पुकारा,
निकट आकर उसने मुझे जल्दी संभाला-2
5. मेरे लिए जल्दी वो आने वाला है
उसके साथ हमेशा मैं गाता रहूँगा-2
मेरे गुनाह की ली तूने सज़ा
चाबुक की मार से
कुछ ना दिया मैंने कुछ ना दिया
बदले में प्यार के
ये क्या किया तूने क्यू ये किया
जान देके तूने ये जीवन दिया
1. दर्द था मेरा जो तूने सहा
चढ़ के सलीब पे
कर्ज़ा किया मेरा तूने अदा
कांटों और कीलों से
फिर भी ना कम हुआ प्रेम तेरा
जान देके तूने ये जीवन दिया
2. मरते हुए माफ़ करके गया
ज़ुल्म और सितम मेरे
मेरे लिए तूने खाई सज़ा
दुनिया की ठोकरे
ये क्या किया तूने क्यों ये किया
जान देके तूने ये जीवन दिया
मेरे गीतों का विषय, तू मेरी आराधना,
तेरी महिमा मुझ से होवे, यह मेरी है कामना-2
1. तुझको मैंने मेरे प्रभु जी, जब से पाया है,
तेरे अनोखे प्रेम के आगे, शीश झुकाया है,
तेरी महिमा गाने को जो साज़ उठाया है,
गीतों में नया जीवन मेरे तब से आया है,
मेरे जीवन का हर-पल अब तेरा,
तू ही मुझको थामना
2. तेरा वचन जो राहों में मेरे, दीप सा जलता है,
मेरे जीवन का हर पहलू, उसमें ढलता है,
तेरे वचन के द्वारा मुझको साहस मिलता है,
वह तो कभी न भटकेगा, जो उन पर चलता है,
तेरे वचन को थामें रहूँ, यही मेरी है साधना
3. वक्त चुनौती देकर पूछे, तुमसे बारम्बार,
यीशु मसीह को बनाया तुमने, जीवन का आधार,
सोचना होगा हर प्राणी को, क्या वह है तैयार,
देखो शायद कल न आए, करना न इनकार,
एक दिन करना होगा सबको उसका सामना
मेरे ख़ुदा ऐ मेरे ख़ुदा, दिल की हैकल में आजा,
तू मेरा और मैं तेरा, मेरे ख़ुदा ऐ मेरे ख़ुदा
1. मुझको तुझसे आस लगी, तेरे वचन की प्यास लगी…
प्यासा हूँ मेरी प्यास बुझा-2
2. यह दुनिया एक सपना है, कौन यहाँ पर अपना…
मैं हूँ बालक तू है पिता-2
3. काली घटायें छायी हुर्इ, रूह मेरी घबरार्इ हुर्इ…
सुन ले तू मेरे दिल की दुआ-2
मेरे प्रभु मेरे मसीह
करती हूं मैं वंदना
मेरे गुनाहों को धोना प्रभु तू
करती हूं मैं अर्चना
मुझ पै दया करना
1. प्रभु तेरे चरणों में, मैं आई हूं
पापी जीवन, मैं लाईं हूं-2
येशू तू, अमृत झरना है
जीवन जल, पाने आई हूं
प्यास मेरी, बुझाना प्रभु-2
करती हूं मैं अर्चना
मुझे पै दया करना
2. प्रभु तेरे प्रेम की, मैं भूखी हूं
प्रेम को मैं, पाने आई हूं-2
येशू तू है, जीवन रोटी
भूख मिटाने, मैं आई हूं
जीवन रोटी देना प्रभु-2
करती हूं मैं अर्चना
मुझ पै दया करना
3. प्रभु अंधियारे में, भटक रही हूं
उजियारा, पाने आईं हूं
येशू तू है, जग की ज्योति
जीवन जोत, पाने आई हूं
अपना प्रकाश, मुझे देना प्रभु-2
करती हूं मैं अर्चना
मुझ पै दया करना
मेरा प्रभु जन्मा, प्यारा प्रभु जन्मा,
पापिन, तारण कारण मेरा प्यारा यीशु जन्मा
1. मरियम बैठी अपने घर में, आया दूत स्वर्ग से,
बोला कुँवारी मरियम से कि लो सलाम हमारा जी
2. मरियम बैठी गौशाला में, राजा बालक चरनी में,
आये गड़रिये दंडवत करने, सारे जग के त्राता को
3. आगे आगे तारा, पीछे-पीछे पंडित लोग,
सोना, मुर, लोबान, चढ़ाते, करते उसकी महिमा जी
मेरा मन धो देना प्रभु बिनती करूँ बार-बार
1. मन मेरा हो गया पापों से मैला, मैं धोते-धोते-हुआ लाचार
2. मैंने भूल करी बड़ी भारी, आया नहीं मैं तुम्हारे द्वार
3. बाइबल भीतर मैंने पाया, तुम ही हो दिल के धोवनहार
4. दास कहे इस पापी मन को, कृपा कर तुम दिजो निखार
मेरे मन करले तारीफ़,
तारीफ़ के योग्य प्रभु है,
उसने किये हैं बड़े बड़े काम,
उसकी हो महिमा हम से सदा
1. भेंट जो तुम लाये हो, कर लो उसे तुम दान,
दिल से चढ़ाएँ मिलकर हम, धन्यवाद के ये बलिदान
2. भेड़ों से और बैलों से, बेहतर यह बलिदान,
दिल से चढ़ाएँ मिलकर हम, धन्यवाद के ये बलिदान
3. तारीफों में विराजमान, प्रभु है कितना महान
दिल से चढ़ाएँ मिलकर हम, धन्यवाद के ये बलिदान
https://www.youtube.com/watch?v=V4I4Vrf2VUY
मुक्ति का लहू
तन से बह गया
मेरे येशू येशू मसीह-2
मेरी ख़ातिर मसीह
सूली पर चढ़ गया
1. हाथों से बह गया
पाँवों से बह गया-2
पिलातुस भी तुझ को
मसीह कह गया
सीने से बह गया
मुक्ति बन गया-2
2. तूने दे दी थी जान
उफ्फ़ तक न कहा-2
तुझ को कोड़े पड़े
तुझ को डाँटा गया
पसीना तेरा येशू
ख़ून ही बन गया-2
3. जिनको रोटी दे दी
वो पत्थर बने-2
जिनको देता शिफ़ा
वो दुश्मन बने
लोग का ये प्यार
तलवार बन गया-2
4. उसकी कम न पड़ी
चलने की रफ्तार-2
उसने तोड़ ही दी
पापों की दीवार
इसलिए वो मसीह
मेरा प्यार बन गया-2